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नो डाउट...इंडिया में अभी नंम्बर वन कैरेक्टर ऑर्टिस्ट हैं शेफ़ाली शाह : सावन चौहान

संजय सागर

आगरा। फिल्म इंडस्ट्री में टेलेंट की कद्र से ज्यादा ग्लैमर की कद्र होती है मगर ग्लैमर चंद सालो का होता हैं। फिर उनको भी अच्छे रोल्स की तलाश होती है। शैफाली शाह ने इस बैरियर को तोड़ दिया हैं, अब उम्र के इस दौर में वो बेहतरीन रोल निभा रही है। डार्लिंग्स और दिल्ली क्राइम इसका सटीक उदाहरण है, जिसमें शैफाली छा गई है। दिल्ली क्राइम में जिस तरह का पुलिस अफसर का रोल निभाया वो बताने लायक नही बल्कि देखने लायक है और अभी ये शैफाली की शुरुआत है। क्योकि अब नए - नए प्लेटफार्म आ गए खाली सिनेमाघरों में फिल्मे ही नही बल्कि OTT प्लेटफॉर्म भी अब सही टेलेंट को दिखाने में झिझकते नही हैं। 

सुप्रशिद्ध समाजसेवक, फिल्म निर्माता एवं निर्देशक श्री सावन चौहान ने नेट से प्राप्त जानकारी के अनुसार अपने वक्तव्य में बताया कि शेफ़ाली शाह शानदार अभिनेत्री हैं।
नो डाउट इंडिया में अभी नंम्बर वन कैरेक्टर ऑर्टिस्ट हैं, एक्टिंग में कोई आसपास भी नहीं हैं। सभी प्रौढ़ावस्था वालों को इस बारे सोचना चाहिए कि अब उनके लिए भी सपने में आने को एक बेहतरीन अदाकारा सामने है। 49 साल की इस अभिनेत्री की एक्टिंग का मैं फैन हूं। ये इतनी शानदार एक्टिंग करती है। कुछ अभिनेत्रियां जवानी में कुछ खास नहीं कर पाती, कुछेक को मॉडर्न टाइप ग्लैमरस रोल करने की चाह होती है। शैफाली शाह को भी चाह थी कि मैं उर्मिला मंतोडकर जैसा रोल करूं। मैने उर्मिला का नाम खासकर इस लिए लिया क्योंकि रंगीला में शैफाली शाह को भी ब्रेक मिला और टर्निंग प्वाइंट उर्मिला को भी, फिल्म के डायरेक्टर राम गोपाल वर्मा थे। शैफाली शाह उर्मिला जैसे ग्लेमर्स बनना चाहती थी, अच्छा हुआ नही बनी आज उर्मिला आउट है और शैफाली शाह पूरी फार्म में हैं। राम गोपाल वर्मा जी ने इन दोनो को सत्या फिल्म में दुबारा लिया। शैफाली शाह इस फिल्म में उर्मिला का रोल चाहती थी लेकिन उर्मिला, राम गोपाल वर्मा जी की फैवरिट थी। मनोज वाजपई की पत्नी का इनका दूसरा रोल भी दमदार था। शैफाली ने वो रोल निभा कर उर्मिला को भी पीछे कर दिया और बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस का अवार्ड भी जीत ले गई लेकिन इस इंडस्ट्री में टेलेंट की कद्र से ज्यादा ग्लैमर की कद्र होती है मगर ग्लैमर चंद सालो का होता हैं। फिर उनको भी अच्छे रोल्स की तलाश होती है। शैफाली शाह ने इस बैरियर को तोड़ दिया अब उम्र के इस दौर में वो बेहतरीन रोल निभा रही है। मेरा परिवार इसकी एक्टिंग को देखने की खातिर कोई भी सीरियल दुबारा दुबारा देख सकता हैं। शैफाली की फिल्म डार्लिंग देखी है और उसमे इनकी एक्टिंग भी देखी है। इनकी एक्टिंग में इनके फैस इंसपरेशन बेहद ही एहम रहते है। मैने होटस्टार और नेटफ्लिक्स पर नेगेटिव रोल का अलग ही शेड देखने को मिलता है जो आज के दौर में शायद सिर्फ शेफाली या तब्बू जैसा ही कर पाता। डार्लिंग में आलिया से बेहतर एक्टिंग की हैं। वहीं, अपने से बड़े अक्षय की माँ का रोल भी निभाया है। मैं तो वक्त की सैफली को भुला हीं नहीं पाता। इनका बड़े बड़े सितारों के बीच बेहतरीन कार्य किया हैं। बनेगी अपनी बात और हसरते का फैन हूँ। बनेगी अपनी बात में इनके साथ आर राघवन ने भी काम किया हैं। इनकी वनस अगेन मूवी देखिये उम्र के बैरियर्स को तोड़ती हैं। हॉट स्टार आप की ह्यूमन देखिए बेहतरीन है। दिल्ली क्राइम्स, इसके अलावा इसकी एक फ़िल्म भोपाल पर ड्रग्स ट्रायल पर बनी है जबरदस्त एक्टिंग की है। शैफाली शाह ने बैरियर को तोड़ दिया हैं, अब उम्र के इस दौर में वो बेहतरीन रोल निभा रही है। डार्लिंग्स और दिल्ली क्राइम इसका सटीक उदाहरण है, जिसमें शैफाली छा गई है। दिल्ली क्राइम में जिस तरह का पुलिस अफसर का रोल निभाया वो बताने लायक नही बल्कि देखने लायक है और अभी ये शैफाली की शुरुआत है। क्योकि अब नए - नए प्लेटफार्म आ गए खाली सिनेमाघरों में फिल्मे ही नही बल्कि OTT प्लेटफॉर्म भी अब सही टेलेंट को दिखाने में झिझकते नही हैं।

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