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राज्यपाल की अध्यक्षता में राज्य विश्वविद्यालयों की समर्थ पोर्टल कार्यशाला

लखनऊ

राज्यपाल आनंदीबेन पटेल की अध्यक्षता में डॉ0 ए0पी0जे0 अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय, लखनऊ में आयोजित दो दिवसीय कार्यशाला ‘समर्थ से सामर्थ्य‘ आज सम्पन्न हो गई। प्रदेश के राज्य विश्वविद्यालयों में ‘समर्थ पोर्टल‘ को सफलतापूर्वक लागू कराने और सुगम संचालन सुनिश्चित करने के महत्वपूर्ण उद्देश्य को लेकर आयोजित कार्यशाला को सम्बोधित करते हुए राज्यपाल जी ने कहा कि विश्वविद्यालय इसे शत-प्रतिशत लागू करना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय अपनी जरूरत के अनुसार इसमें डाटा भरते रहें। उन्होंने पोर्टल के समग्रता से क्रियान्वयन के लिए टीम वर्क को जरूरी बताया, इसके लिए उन्होंने विश्वविद्यालय के प्रत्येक अधिकारी और कर्मचारी को पूर्ण समर्पण के साथ कार्य करने को कहा।
         कार्यशाला को सम्बोधित करते हुए राज्यपाल जी ने कहा कि दिल्ली विश्वविद्यालय ने शोध पूर्ण तरीके से काफी समय देकर इस पोर्टल का निर्माण किया है। इसके माध्यम से प्रत्येक कार्य सम्पादन का समाधान प्राप्त हो सकेगा और विश्वविद्यालयों में इस पोर्टल के लागू हो जाने से विभिन्न समस्याओं का समाधान भी हो जाएगा। उन्होंने पोर्टल लागू होने के फायदों पर चर्चा करते हुए समय की बचत, धन के दुरुपयोग से बचत, एक क्लिक पर विश्वविद्यालय की जानकारियों का प्राप्त होना, फाइलों की सहज ट्रैकिंग जैसे अनेक कार्यों के सुगमता से सम्पन्न होने वाले लाभों के बारे में बताया।
          इसी क्रम में राज्यपाल ने विश्वविद्यालयों में उच्चाधिकारियों के मध्य तालमेल की कमी पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी सप्ताह में दो-तीन बार एक साथ बैठकर बातचीत से आपसी समन्वय अवश्य बनाएं। उन्होंने कहा कि दिल्ली विश्वविद्यालय के शिक्षकों की टीम द्वारा बनाए समर्थ पोर्टल की तरह अपने विश्वविद्यालय में भी कुछ नया करें, जिससे दूसरे प्रदेशों के लोग प्रेरणा ले सकें। उन्होंने राज्य विश्वविद्यालयों से आए सभी प्रतिभागियों का उत्साहवर्द्धन करते हुए पूरे संकल्प के साथ जल्दी से जल्दी समर्थ पोर्टल लागू करने के लिए प्रोत्साहित किया। राज्यपाल जी ने समर्थ पोर्टल बनाने वाली दिल्ली विश्वविद्यालय के शिक्षकों की पूरी टीम को बधाई दी। उल्लेखनीय है कि राज्यपाल जी आर्थिक दृष्टि से पिछड़े, संसाधन विहीन, झुग्गी झोपड़ी में अवासित बच्चे तथा आंगनवाड़ी केन्द्रों पर आने वाले बच्चों की गुणवत्तापूर्ण और समग्र शिक्षा के लिए भी सतत प्रयासशील रही हैं। आज इस कार्यशाला में जाते हुए राज्यपाल जी ने विश्वविद्यालय परिसर से सटी झुग्गी-झोपड़ी का भी संज्ञान लिया। वे स्वयं बस्ती में रहने वाले बच्चों से मिली व अधिकारियों को उनकी समुचित शिक्षा के लिए ‘उम्मीद संस्था‘ से जोड़ने के आवश्यक निर्देश दिए।
           कार्यशाला में आज दूसरे दिन दिल्ली विश्वविद्यालय से आयी शिक्षकों की टीम से श्रीमती दिव्या करवाल ने पोर्टल के माध्यम से रिक्रियूटमेंट तथा एम्प्लाई मैनेजमेंट (एच.आर.), श्री साहिल दत्त ने कैरियर एडवांसमेंट और फाइनेंनशियल सप्लाई चेन मैनेजमेंट पर जानकारी दी। इसके साथ ही अन्य शिक्षकों के साथ पोर्टल के संयोजक प्रो0 संजीव सिंह ने भी विभिन्न चर्चाएं की और एडमिशन और एकेडेमिक्स, की परफॉर्मेंस इंडिकेटर, मॉनिटरिंग डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन जैसे विषयों पर जानकारी दी। कार्यशाला में उपस्थित राज्य विश्वविद्यालयों के कुलपतिगण व अधिकारीगणों की पोर्टल से सम्बन्धित विभिन्न पहलुओं पर जिज्ञासाओं का समर्थ टीम ने समाधान भी प्रस्तुत किया।  
             आज दूसरे दिन प्रदेश के 12 अन्य विश्वविद्यालयों ने दिल्ली विश्वविद्यालय के साथ समर्थ-ई-गवर्नंेस के लिए एम0ओ0यू0 किया, जिनमें छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय कानपुर, बुंदेलखण्ड विश्वविद्यालय झांसी, शकुंतला मिश्रा विश्वविद्यालय लखनऊ, रज्जू भय्या विश्वविद्यालय प्रयागराज, राजर्षि टण्डन विश्वविद्यालय प्रयागराज, महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखंड विश्वविद्यालय बरेली, सुहेलदेव विश्वविद्यालय आजमगढ़, ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती भाषा विश्वविद्यालय लखनऊ, महेन्द्र प्रताप विश्वविद्यालय अलीगढ़, ए0के0टी0यू0 लखनऊ, जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय बलिया तथा लखनऊ विश्वविद्यालय लखनऊ शामिल रहे।
             कार्यक्रम में अपर मुख्य सचिव श्री राज्यपाल डॉ सुधीर महादेव बोबडे, विशेष कार्याधिकारी शिक्षा श्री राज्यपाल डॉ पंकज एल. जानी अन्य अधिकरी उपस्थित रहे।

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