सप्त शक्ति संगम कार्यक्रम का हुआ आयोजन

गाजियाबाद। ‘विद्या भारती द्वारा देश भर में सप्तशक्ति संगम कार्य योजना को साकार करने के लिए सरस्वती शिशु मन्दिर, नेहरू नगर, गाजियाबाद में आज सप्तशक्ति संगम कार्यक्रम का आयोजन किया गया | कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन और देवी सरस्वती को पुष्प अर्पित करने के साथ सरस्वती वंदना की गई | श्रीमती रजनी जी ने अतिथियों का परिचय कराया | कार्यक्रम में परिचय , समूह गान, अनुभव साझाकरण, अध्यक्षीय भाषण प्रतिष्ठित माता का सम्मान, परिवार प्रबोधन और पर्यावरण पर व्याख्यान , प्रेरक महिलाओं के संदेश और अंत में प्रश्नोत्तरी शामिल थी | सप्तशक्ति संगम के महत्व को समझाते हुए कहा गया कि ” भारतीय नारी मात्र एक व्यक्ति नहीं, अपितु एक संपूर्ण चेतना है जो परिवार की आधारशिला समाज की प्रेरणा, राष्ट्र की आत्मा है।” नारी संपूर्ण मानवता व प्रकृति के प्रति दायित्व धारिणी के रूप में सदियों से प्रतिष्ठित रही है। भारतीय संस्कृति में नारी को शक्ति, करुणा, ममता, समर्पण, त्याग का स्वरूप माना है। इसके अंतर्गत
संयुक्त परिवार, सामूहिक जीवन पद्धति, आहार-विहार में प्रकृति के अनुरूपता, परंपराएं एवं पर्व, पर्यावरण के प्रति व्यावहारिक आचरण आदि कितने ही ऐसे विषय हैं जो विश्व की शांति में सहायक हैं। सबका आधार भारतीय महिला है | कार्यक्रम में विशेष रूप से मुख्य वक्ता कविता जी, अध्यक्षा हिमांशी जी ,श्रीमती प्रमोद बाना जी , श्रीमती रश्मि जी , श्रीमती वंदना वर्मा जी , श्रीमती मिती जी एवं विद्यालय की प्रधानाचार्य श्रीमती सुधा बाना जी के साथ-साथ विद्यालय की आचार्य बहने उपस्थित रही | कार्यक्रम होने के पश्चात श्रीमती रश्मि जी ने सभी का आभार व्यक्त किया | और अंत में विद्यालय की प्रधानाचार्य श्रीमती सुधा बाना जी ने सभी को संकल्प दिलाया जो कि इस प्रकार है – ( संकल्प )
मैं सृजनकर्ता हूँ।
मैं अपने प्रति एवं भारतीय संस्कृति के प्रति गौरव का भाव रखूँगी।
मैं कुल परम्परा सिखाऊँगी।
मितव्ययता के साथ घर चलाऊँगी।
पर्यावरण-हितैषी जीवनशैली अपनाऊँगी।
भारत के नागरिक कर्तव्यों का पालन करूँगी।
परिवार, समाज, राष्ट्र तथा विश्व कल्याण के लिए कार्य करूँगी।
मैं अपनी सप्तशक्ति का जागरण करने के लिए संकल्पित हूँ।
।। भारत माता की जय ।।




